सहारनपुर। उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव योग दुर्गा शंकर मिश्र ने भगवान धन्वंतरि देवालय का लोकार्पण करने के बाद उपस्थित जन समुदाय को संबोधित करते हुए कहा कि यहां आते ही नई ऊर्जा मिल जाना स्वाभाविक है क्योंकि योग और आरोग्य का गहरा नाता है। उन्होंने भगवान धन्वंतरि व पतंजलि एक दूजे के पूरक बताते हुए कहा कि मोक्षायतन सरीखे अंतर्राष्ट्रीय योग संस्थान में धन्वंतरि देवालय की स्थापना की परिकल्पना स्वामी भारत भूषण जी जैसे योग गुरु के चिंतन की ही देन है।
क्योंकि योग आरोग्य और अध्यात्म का अनूठा संगम है। उन्होंने 90 के दशक में उनके मार्गदर्शन में ऋषिकेश में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय योग सप्ताह के समय योगी स्वामी भारत भूषण और बी के एस आयंगार से मिले सानिध्य को याद किया और कहा कि इन प्रयासों को बल देकर प्रधानमंत्री की दूरदर्शिता ने योग को आज दुनिया की पहली पसंद बना दिया है।
मोक्षायतन की अर्धशती की यात्रा की वीडियो फिल्म में जब युवा दुर्गाशंकर मिश्र का चित्र सबने देखा तो सभागार तालियों से गूंज उठा और उन्होंने ये फोटो उन्हें देने की पेशकश भी की। इस अवसर पर संस्थान के नामचीन साधकों ने मनोहारी योग प्रस्तुति भी शाखा प्रभारी शशिकांत शर्मा के मार्गदर्शन में दी।
स्वामी भारत भूषण के आशीर्वाद , महापौर डॉ. अजय कुमार सिंह की अध्यक्षता, शाकंभरी विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. हृदयशंकर सिंह जिलाधिकारी डॉ. दिनेश चंद्र, एस एस पी श्री विपिन टाडा, मुख्य विकास अधिकारी विजय कुमार, अपर जिलाधिकारी अर्चना द्विवेदी व नगर आयुक्त ग़ज़ल भारद्वाज व मोक्षायतन साधक परिवार की गरिमामयी उपस्थिति में संपन्न हुए इस अनूठे कार्यक्रम में मुख्य सचिव श्री दुर्गा शंकर मिश्र जी को संस्थान की ओर से संस्थान के प्रतिष्ठित ष्रोमेश शर्माष् अवार्ड से सम्मानित किया गया। मुख्य सचिव ने आश्रम साधकों और संस्थान द्वारा संचालित नेशन बिल्डर्स अकादमी के नन्हे छात्रों से भी भेंट करके उन्हे भी प्रोत्साहित किया।
महापौर अजय कुमार सिंह ने स्मार्ट सिटी जैसी योजनाओं और प्रधानमंत्री जी के सपनों के नए संसद भवन को भारत सरकार के तत्कालीन नगर विकास सचिव के रूप में श्री दुर्गाशंकर मिश्र की दक्ष कार्यशैली की देन बताया। पद्मश्री स्वामी भारत भूषण ने अपने आशीर्वाद संबोधन में कहा कि ईश्वर ने हम सभी को विलक्षण क्षमताएं दी हैं लेकिन भाग्यवान लोग उस क्षमताओं को पहचान कर मानवता के लिए वरदान बन जाते हैं।
उन्होंने उम्मीद जताई कि बढ़ती उम्र के साथ मिश्र जी के गहराते अनुभव का लाभ और बड़े क्षितिज पर देश हित में प्रयोग होकर उनका आभामंडल बढ़ाएगा। आरोग्य के लिए चिकित्सा विज्ञान देने वाले देवता भगवान धन्वंतरि देवालय के प्रथम दर्शन एवं पुषापर्पण करने वालों में डॉ. संगीता अनेजा, डॉ. अशोक गुप्ता, डॉ. स्वर्णजीत सिंह, डॉ. आनंद मेहरा, डॉ. चंद्रशील चोपड़ा, डॉ. पी डी गर्ग समेत बड़ी संख्या में सभी पैथियों के चिकित्सक मौजूद रहे।