घरौनी के लिए गजरौला के गांवों का ड्रोन सर्वे

पीलीभीत/गजरौला। ग्रामीणों को डिजिटल माध्यम से उनके आवास का मालिकाना हक दिलाने वाला दस्तावेज (ग्रामीण आवासीय अभिलेख यानी घरौनी प्रमाण पत्र) के लिए ड्रोन सर्वे कराई गई। योजना का लाभ पाने वाले ग्रामीणों को घरौनी प्रमाण पत्र मिलने से काफी राहत मिलेगी। योजना के तहत ग्रामीण आवासीय अभिलेखों का निर्माण हो जाने पर ग्रामीण क्षेत्रों में सम्पत्ति संबंधी विवाद काफी कम हो जाएंगे। स्वामित्व का अभिलेख बन जाने पर न्यायालय में चल रहे विवादों का निस्तारण जल्द होगा। आबादी क्षेत्र का प्रारंभिक डाटा मिलने पर सरकार विकास की योजनाओं को आसानी से संचालित करा सकेगी। 

बुद्धवार को गजरौला थाना क्षेत्र के गांव अजीतपुर मुस्तकिल सिरसा सरदाह महुआ मुस्तकिल में राजस्व विभाग की टीम ने ड्रोन कैमरे से स्वामित्व योजना के तहत गांवों में आबादी की भूमि का घरौनी तैयार करने के लिए ड्रोन सर्वे किया। ड्रोन कैमरे को देखने के लिए ग्रामीणों की भीड़ एकत्र हो गई। घरौनी में संपत्ति के स्वामी का जिला, तहसील, ब्लाक, थाना, ग्राम पंचायत का नाम दर्ज होगा। वही प्रत्येक भूखंड का 13 अंकों का यूनिक आइडी नंबर भी इसमें अंकित किया जाएगा।

 सर्वे के दौरान ड्रोन कैमरे से  गांवों के मकानों को कैमरे में कैद किया गया। ड्रोन सर्वे के लिए सिरसा सरदाह अजीतपुर मुस्तकिल महुआ गांव सहित पांच पॉइंट बनाए गए ।राजस्व व ड्रोन टीम ने 120 मीटर ऊपर से दो किलोमीटर की दूरी तक ड्रोन उड़ाकर सर्वे किया। ग्राम पंचायत महुआ चक मुस्तकिल के ग्रामप्रधान बीरबल और सिरसा सरदाह की ग्राम प्रधान बेला मती ने गांव में मंगलवार की शाम को ही इसके लिए तैयारी शुरू कर दी थी। गांवों के रास्तों की दोनों ओर चूना डलवाया गया। 

राजस्व कर्मियों ने गांवों का सर्वेक्षण किया। मकान के ऊपर से उड़ रहे ड्रोन कैमरे को देखने के लिए गांवों के लोग घर के बाहर निकल आए। ड्रोन कैमरे को संचालित करने वाले कर्मचारी चूना डालकर चिन्हित किए गए रास्तों से गांवों में पहुंच कर सर्वे शुरू किया। क्षेत्रीय लेखपाल अमित कुमार राना ने बताया कि स्वामित्व योजना के तहत गांव की आबादी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को दी जाने वाली घरौनी ग्रामीण आवासीय अभिलेख में उसकी आवासीय संपत्ति का पूरा ब्योरा दर्ज होगा। सर्वे पूरा होने के बाद ग्रामीणों को घरौनी वितरित की जाएंगी।