जानकारी के मुताबिक घटना मल्लावां कोतवाली के सेवाला पुरवा की है। कहां के रहने वाले शिवचरण के 18 वर्षीय पुत्र धर्मेंद्र के साथ शिवपाल की 17 वर्षीय पुत्री शब्बो का शव शहतूत के पेड़ से लटकता मिला है। ये शहतूत का पेड़ शिवपाल के घर के ठीक पीछे था। बताया गया धर्मेंद्र और शब्बो का प्रेम प्रसंग काफी वक्त से चल रहा था। इनके प्रेम की खबर जब परिवार को लगी तो वो इस मोहब्बत के खिलाफ थे। परिवार वालो ने समाज की भी दुहाई दी। जब दोनों ने ये जान लिया कि घर परिवार और ये समाज उन्हे एक नहीं होने देगा तब दोनो ने एक साथ मरकर प्रेम को अमर करने का फैसला किया।
दोनो ने शहतूत के पेड़ से एक साथ फांसी फंदा डाल कर मौत को गले लगा लिया। घटना के बाद दोनों के ही परिजनों ने पुलिस ने इत्तिला नहीं की और दोनो का अंतिम संस्कार कर दिया। स्थानीय पुलिस के मुताबिक इस घटना की जानकारी ही नहीं हैं। वही जब इस बाबत अपर पुलिस अधीक्षक अनिल कुमार से बात की गई तो उन्होंने कहा कि जब कोई शिकायात नहीं आया तो पुलिस क्या ही कार्रवाई कर सकती है। अब पुलिस अफसर ही जब असंवेदनशील शब्द का इस्तेमाल करेंगे संविधान के राइट टू लिव आर्टिकल का पालन नहीं करेंगे तो फिर आम आदमी से क्या ही संविधान और कानून की उम्मीद की जा सकती है।